विचाराधीन बंदी की मौत के बाद नवगछिया अनुमंडल कारा के अंदर बंदियों ने और बाहर परिजनों ने किया हंगामा ।। Inquilabindia

IMG 20220912 WA0107
  • नवगछिया एसपी, एसडीओ और एसडीपीओ ने समझा-बुझा कर किया लोगों को शांत

नवगछिया। बिहपुर के सोनवर्षा निवासी हत्याकांड के विचाराधीन बंदी संतोष कुमार की शनिवार को हुई संदेहास्पद मौत को लेकर रविवार नवगछिया अनुमंडल कारा के सामने मृतक के परिजनों ने हंगामा किया। वही दूसरी तरफ कारा में रहने वाले बंदियों ने भी जेल के अंदर प्रदर्शन किया। शनिवार को जेल के अंदर संतोष की मौत के बाद सभी बंदी उग्र थे और नारेबाजी कर रहे थे। सूचना पर नवगछिया एसपी सुशांत कुमार सरोज, एसडीओ उत्तम कुमार, एसडीपीओ दिलीप कुमार और सीओ विश्वास आनंद ने उपकारा पहुंच कर बंदियों को समझा बुझा कर शांत किया। विश्वसनीय सूत्रों ने बताया कि बंदियों ने जेल में मिलने वाले खाने की भी शिकायत की। जिसके बाद पदाधिकारियों ने भी बंदियों के साथ भोजन किया। जिसके बाद बंदी संतुष्ट दिखे। इधर कारा के गेट पर सुबह दस बजे मृतक की पत्नी समेत परिजन और सैकड़ो ग्रामीण पहुंच गए और हंगामा करने लगे। वे लोग जेल के अंदर जा कर घटनास्थल देखने की जिद कर रहे थे। हालांकि प्रशासनिक सख्ती के बाद परिजन मुख्य गेट से हट गए। इसके बाद परिजनों का नेतृत्व आजाद हिंद मोर्चा के अध्यक्ष राजेंद्र यादव करने लगे। राजेंद्र यादव के नेतृत्व में लोगों ने जमकर नारे बाजी की। करीब तीन घंटे तक परिजन जेल गेट के पास डटे रहे। इस दौरान आस पास के कई थानों से पुलिस बलों को एहतियातन बुलाया गया। एसडीओ उत्तम कुमार और एसडीपीओ दिलीप कुमार ने लोगों को समझने बुझाने का प्रयास किया। मौके पर ही सोनवर्षा पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि अजय कुमार उर्फ लाली मुखिया ने निजी स्तर पर मृतक के परिजनों को सहायता राशि कुल 15 हजार की नगदी प्रदान किया। जबकि प्रशासनिक पदाधिकारियों ने मामले की न्यायिक जांच कराने और परिजनों को विधिवत मुआवजा दिलवाने में मदद करने की बात कही। जिसके बाद ग्रामीण और मृतक के परिजन अपने गांव लौटे। इधर मृतक का शव परिजनों को सौंप दिया गया है। मृतक का विधिवत दाह संस्कार लत्तीपुर के सिकिया घाट पर किया गया।

img 20220912 wa0106923781758570204576
  • बार बार कह रही है मृतक की पत्नी, उसके पति को जहर की सुई देकर मार डाला है

मृतक की पत्नी रूसा देवी रोते रोते कह रही थी, जहर की सुई दे कर पति को मार डाला गया है। जब उसके पति की हालत खराब हुई तो जेल से उसे सूचना मिलना चाहिए था लेकिन किसी भी प्रकार की सूचना उन्हें नहीं दी गई। कहा कि जब उसके पति जेल गए तो उनका परिवार अस्त व्यस्त हो गया। क्योंकि संतोष ही उसके परिवार का इकलौता कमाउ सदस्य था। अब उनकी मौत के बाद उसके तीन बच्चों का भरण पोषण कैसे होगा? ये चिंता भी उसे खायी जा रही है। रुषा देवी ने पिछले 24 घंटे से कुछ नहीं खाया है। इधर आजाद हिंद मोर्चा के अध्यक्ष राजेंद्र यादव ने कहा कि जेल में महज तीन माह के अंदर दूसरी मौत की वारदात हुई है। यह जेल है या मौत का घर? मामले की न्यायिक जांच होनी चाहिए और दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए। वही अनुमंडल कारा के कक्षपाल ने अपना बयान दिया है। कक्ष पाल शत्रुघन कुमार सिंह ने कहा है कि संतोष 18 जुलाई को जेल आया था। शनिवार को अचानक उसकी तबियत बिगड़ गई। कक्षपाल शत्रुघन कुमार सिंह का कहना है कि तबियत बिगड़ने के तुरंत बाद अनुमंडल अस्पताल के प्रभारी चिकित्सक के अनुशंसा के आलोक में संतोष को मायागंज अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहां चिकित्सकों द्वारा उसे मृत घोषित कर दिया गया।

  • संतोष पर जहरीला पदार्थ खिलाकर गांव के ही कपिलदेव की हत्या कर देने का आरोप था

विगत वर्ष 23 अक्तूबर को बिहपुर सोनवर्षा निवासी कपिलदेव दास के संदेहास्पद हत्या कर दिये जाने का मामला प्रकाश में आया था। इसी मामले में मृतक कपिलदेव दास की पत्नी मीना देवी ने गांव के ही संतोष कुमार और तेजनारायण दास को नामजद किया था। मीना देवी का आरोप है कि 23 अक्तूबर को दिन के दो बजे दोनों आरोपियों द्वारा कपिलदेव को घर से बुला कर चुनाव प्रचार के लिये ले जाया गया और जहरीला पदार्थ खिला कर उसकी हत्या कर दी। हालांकि संतोष के परिजनों का कहना है कि वह निर्दोष था और उसे बेवजह फंसाया गया था। इसी मामले में इसी वर्ष 17 जुलाई को उसकी गिरफ्तारी की गई थी।

  • मनीष को अब तक नहीं आया है होश

उपकारा में एकाएक गंभीर हुए दूसरे बंदी मनीष कुमार को अब तक होश नहीं आया है। मनीष की मां श्वेता देवी को मनीष के पास रहने की इजाजत दी गयी है। मनीष की मां ने बताया कि उसके पुत्र को अब तक होश नहीं आया है। न तो डॉक्टर कुछ बताने को तैयार है और न ही पुलिस मनीष की मां ने कहा कि विगत माह में मनीष ने उसके साथ मारपीट की थी, जिसके बाद उसने मामले की प्राथमिकी दर्ज करायी थी। उसी प्राथमिकी के आधार पर मनीष को जेल भेजा गया था।

  • लोजपा नेता ने की न्यायिक जांच की मांग

लोजपा के प्रदेश महासचिव सुरेश भगत ने नवगछिया कारा में हुई संतोष के दुखद मृत्यु पर शोक व्यक्त करते हुए कहा कि पूर्व में भी नवगछिया उपकार में ऐसी घटना हो चुकी है लेकिन प्रशासन तब भी लापरवाह थी और आज भी लापरवाह है। मैं सरकार से मांग करता हूं कि दोनों घटनाओं की उचित न्यायिक जांच हो और पीड़ित परिवार को उचित मुआवजा मिले और दोषियों पर कार्रवाई हो।

  • स्थिति नियंत्रित, जेल पर है प्रशासनिक नजर

नवगछिया के एसडीओ उत्तम कुमार ने कहा कि जेल में बंदियों के प्रदर्शन की सूचना मिलते ही वे पुलिस पदाधिकारियों के साथ जेल गए और बंदियों को समझा बुझा कर शांत किया। जबकि परिजनों को भी समझाया बुझाया गया है। मामले में कानून संगत मुआवजा दिलवाने के लिए पहल किया जाएगा और मौत मामले की जांच की जा रही है। फिलहाल स्थिति नियंत्रण में है और कारा पर नजर बनाए रखने का निर्देश संबंधित पदाधिकारियों को दिया गया है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *