भावना

अच्छे भावों से अच्छी भावना आती है,दूसरों को सहायता करने से जीवन में खुशियां आती है। मानव के रूप में मानवता को जगाओ,अपने अंदर अहंकार का दमन करो। शुभ कार्य में लग जाओ,अपने जीवन को संवारो। समय एक धारा है,उसके अनुसार हमेशा चलो। प्रकृति एक अलौकिक शक्ति है,उसके खिलाफ़ कोई ऐसा काम मत करो। अच्छे…

प्रकाश राय

अच्छे भावों से अच्छी भावना आती है,
दूसरों को सहायता करने से जीवन में खुशियां आती है।

मानव के रूप में मानवता को जगाओ,
अपने अंदर अहंकार का दमन करो।

शुभ कार्य में लग जाओ,
अपने जीवन को संवारो।

समय एक धारा है,
उसके अनुसार हमेशा चलो।

प्रकृति एक अलौकिक शक्ति है,
उसके खिलाफ़ कोई ऐसा काम मत करो।

अच्छे लोगों के साथ रहो,
अपने विचारों को निर्मल रखो।

वृक्षों को मत काटो,
उसका संरक्षण करो।

जीवों पर दया करो,
उसे अपना आहार मत बनाओ।

शाकाहारी भोजन को अपनाओ,
मांसाहारी भोजन का त्याग करो।

काम,क्रोध,लोभ, मोह और अहंकार को तजो,
समय निकालकर हरि का भजन करो।

संतोष से जीना है,
दूसरे को देखकर कभी नहीं जलना है।

वाहृय सुंदरता के पीछे मत भागो,
अपने आंतरिक सुंदरता को एक बार झांक कर देखो।

इस क्षणभंगुर शरीर का क्या ठिकाना,
आज़ न कल तो इसे मिट्टी में मिलना।

व्यविचार का दमन करो,
अपने अर्धांगिनी में ही देवी का रूप देखो।

बस थोड़ी- सी अच्छी भावना को जगाओ,
जीवन अपना सुखी बनाओ।

स्वरचित एवं मौलिक रचना

प्रकाश राय ✍️
समस्तीपुर, बिहार

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